समय हर किसी के पास 24 घंटे ही है चाहे वो समय किसी आम आदमी का हो या खास आदमी का अगर आप समय की कद्र करते हो तो समय आपकी कद्र करता है तभी तो समय कभी आम आदमी को खास और खास आदमी को आम बना देता है|
समय सीमा तय की थी
जिंदगी में कार्य के अन्तराल की
कोई वजह बन जाता मेरे
समय अवधि के चाल की
इस चाल से हर कार्य पूर्ण हो जाये
ये रहता मन के किसी कोने में
पर कार्य जब भी पूर्ण हो पाये
समय युही बीतता जाये
जो मन थोड़ा सकुचा सा जाता
सकुचे मन से बात थोड़ी समझ है आयी
समय सब ने एक समान है पायी
उस एक सामान समय से
चंचल मन ने बांधा है उत्पन्न करायी
इधर उधर की भागदौड़ में
मन की तेज़ रफ़्तार से
हम नहीं चल पाते है
मन को अगर कुछ भी भा जाता
समय का पत्ता गोल हो जाता
जो समय निर्धारित मेरे
वही समय प्रबन्थ हो पाते
सुबह सुबह जब देर होती
शाम हमारी देर से आती
बस अंतर इतना होता
कि अन्तराल भी साथ होती
घड़ी टिक टिक चलती रहती
हम नहीं चल पाते है
समय की पगडंडियों पे भागते ही रह जाते है
मोह मोह का बंधन है इससे कब छुट पायेंगे
समय बड़ा बलवान है हकीकत में कब लायेंगे
SAMAY
TIME VALUE FOR TIME IS MONEY (समय)
Samay Seema Tay Ki Thi
Jindagi Me Karya Ke Antral Ki
Koi Wajah Ban Jaata Mere
Samay Awadhi Ke Chal Ki
Is Chal Se Her Karya Purna Ho Jaaye
Ye Rahata Man Ke Kisi Kone Me
Per Karya Jub Bhi Purna Ho Paaye
Samay Yuhi Bitata Jaaye
Jo Man Thora Sakucha Sa Jaata
Sakuche Man Se Baat Thori Samajh Hai Aayi
Samay Sabane Ak Saman Hai Paayi
Us Ak Saman Samay Se
Chanchal Man Ne Bandha Hai Utpann Karayi
Idhar Udhar Ki Bhag Daur Me
Man Ki Tez Raftar Se
Hum Nahi Chal Paate Hai
Mun Ko Agar Kuch Bhi Bha Jaata
Samay Ka Patta Gol Ho Jaata
Jo Samay Nirdharit Mere
Wahi Samay Prabandh Ho Paate
Subah Subah Jub Der Hoty
Sham Hamary Der Se Aaty
Bus Antar Itna Hota
Ki Antral Bhi Saath Hoty
Ghari Tik Tik Chalaty Rahaty
Hum Nahi Chal Paate Hai
Samay Ki Pagdandiyo Pe Bhagate Hi Rah Jaate Hai
Moh-Moh Ka Bandhan Hai Isase Kub Chhut Payenge
Samay Bara Balwan Hai Hakikat Me Kub Layenge
Poetry in Hindi–